फुल्यार मेले की धूम ग्रामीण लोग स्थानीय देवताओं
उत्तरकाशी के ग्रामीण आँचलो मे फुल्यार मेले की धूम ग्रामीण लोग स्थानीय देवताओं को उनके मूल निवास से बाहर निकल कर करते है फूलों से स्वागत।।
उत्तरकाशी जनपद के ग्रामीण क्षेत्रों मे सावन की फुल्यार मेलों की धूम है ।स्थानीय लोग फुल्यार मेले से कुछ दिन पहले बुग्यालों से रंग विरंगे फूल चुनकर लाते है।देवता के बताये दिन स्थानीय देवता को उनके मूल निवास से बाहर निकाल कर रंगविरंगे फूलों से उनका स्वागत किया जाता है।दिन भर गाँव के परेशान लोग अपनी परेशानियों का हल देव डोलियों से पूछते है।जिनका समाधान देवडोलियाँ तुरन्त करती है ओर अगर किसी की कोई गलती होती है तो उसपर दण्ड भी लगाती है।फुल्यार मेले के दिन दिनभर लोग पूजा अर्चना के बाद देव डोलियों के साथ नाचते गाते रहते है ।मेले के समापन पर बुग्यालों से लाये गये फूलों को प्रसाद के रूप मे वितरित कर बाहर से आये मेहमानों को देव स्वरूप मानकर उनको खाना खिलाकर मेले का समापन करते है।।