PM मोदी से मुलाकात के बाद CM पुष्कर में गजब का आत्मविश्वास!बाहरी चालबाजों-भूमाफिया को सदमा-झटका दिया:सरकार की Extra भूमि जब्ती की कार्रवाई चालू:सख्त Land-Act का ही था देवभूमि को इन्तजार

मोदी से तरजीह का PSD को फायदा: Graph में जोरदार उछाल:National Games के आयोजन की Date ले के भी लूटी वाहवाही


लोकसभा चुनाव में BJP के लिए बेहद सौभाग्यशाली साबित होने के बाद हरियाणा Assembly Election में भी बतौर Star Campaigner चमकने और फिर नतीजे वाले दिन ही PM नरेंद्र मोदी से मुलाकात से बढ़े आत्मविश्वास और सियासी ग्राफ में जोरदार उछाल का ही परिणाम है कि CM पुष्कर सिंह धामी ने राज्य में नए Land Act को लागू कर डाला.बाहरी लोगों-भू माफिया और चालबाजी से तय सीमा से ज्यादा जमीन खरीद के मौज मार रहे लोगों में हड़बड़ाहट से ज्यादा खलबली और बेशकीमती जमीन सरकार के कब्जे में चले जाने का खौफ-फ़िक्र का आलम है.अवाम को बड़े और ऐतिहासिक सख्त फैसले लेने का इंतजार था.वह पूरा हो गया.मोदी-HM अमित शाह के हर Task-रणभूमि में पुष्कर ने कामयाबी का तोहफा BJP के खाते में डाला है.पार्टी की अंदरूनी सियासत को जानने वालों की माने तो PSD की आला कमान में बढ़ती अहमियत और कामयाबियों-फैसलों तथा उनके अमल में सख्ती से कई महत्वाकांक्षी अलमबरदार बेचैन-कुछ घबराए भी हैं.हैरानी नहीं होगी अगर अचानक मंत्रिमंडल में कुछ चेहरे साफ़ हो जाएं और नए चेहरे चमकने लगे.पुष्कर को इसके लिए कभी भी मोदी-शाह की हरी झंडी मिल सकती है.

 

पुष्कर चुनावी मोर्चों के King न भी कहें तो अपनी पार्टी के लिए बेहद सौभाग्यशाली और पारस पत्थर साबित होते रहे हैं.हरियाणा में उन्होंने मिले हुए Target को बहुत शानदार ढंग से Hit किया.मोदी-शाह और पार्टी के प्रभाव-तिलिस्म के Presentation में वह गजब का हुनर रखते हैं.पार्टी में इसमें कोई उनका सानी नहीं है.ये उन्होंने बार-बार साबित कर दिखाया है.उन्होंने जब-जब चुनावी महासमर में युद्धघोष के लिए बिगुल बजाया और गांडीव उठाया,फतह BJP के हिस्से आई.एकाध ही मिसाल ऐसी होगी, जहाँ कामयाबी थोड़ी दूर रही.हरियाणा में BJP ने डंका बजा के चुनाव जीता तो पुष्कर को मिलने के लिए वक्त देने में PM मोदी ने बेहद व्यस्ततम पलों में भी क्षण भर नहीं लगाया.

 

 

CM पुष्कर सिंह धामी-सियासी ग्राफ में जबरदस्त उछाल

 

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मोदी उत्तराखंड के पार्टी नेताओं से मिलने में हिचकते नहीं.यहाँ के नेताओं से उनका ख़ास लगाव है.ऐसे में ज्यादातर मौकों पर मिलने की इच्छा रखने वालों को वह वक्त दे दिया करते हैं.PSD की मुलाकात की अहमियत Timing और हालात के मद्देनजर बढ़ती है.जब विजय की अपर ख़ुशी और आगे की रणनीतियों को ले के तत्काल मंथन होना हो, तब किसी CM या नेता को प्रधानमंत्री मिलने के लिए हामी भर दे, वह वाकई बहुत बड़ी बात है.बैठक का खुलासा कहीं से नहीं हुआ लेकिन अंदाज लगाने वालों का मानना है कि उत्तराखंड के अहम मसलों पर ही PM और CM में चर्चा हुई.पुष्कर ने अपनी आगे की सोच और रणनीति को मोदी के सामने रखा और उनकी सहमति-मार्गदर्शन-निर्देश लिए.

 

 

 

PT उषा से मिलने IOA दफ्तर पहुँच के CM PSD हाथों-हाथ National Games की Dates ले आए

 

 

ये भी मुमकिन माना जा रहा है कि नए भूमि-कानून को अमल में लाने के लिए भी उन्होंने मोदी से मुलाकात में ही मंजूरी हासिल की.उन्होंने दिल्ली से देहरादून लौटते ही सबसे पहले लोगों की उम्मीदों और इच्छाओं के मुताबिक नया Land Act अमल में लाने का फैसला किया.मोदी पहले भी पुष्कर के क़दमों और फैसलों को पूरा समर्थन देते रहे हैं.UCC और नक़ल विरोधी कानून (प्रतियोगी परीक्षा) को मोदी-शाह का भरपूर समर्थन होने के साथ ही दोनों ने PSD का कन्धा सार्वजानिक तौर पर थपथपाने से परहेज नहीं किया था.BJP में कुछ चेहरों के बाबत समझा जाता है कि वे खुद को ले के अधिक ही उम्मीद्वान हो गए हैं.मोदी संग बैठक और फिर इतने कड़क भूमि-कानून को तुरंत-फुरंत लागू कर पुष्कर का इतना जबरदस्त आत्म विश्वास दिखाना,उनके लिए किसी झटके से कम नहीं है.

 

ये भी कयास लग रहे हैं कि मोदी ने पुष्कर को एक किस्म से कामकाज में Free Hand भी दे दिया है.प्रधानमंत्री से मिलने के बाद 2 बहुत चौंकाने वाले कदम उठाया जाना कम हैरत की बात नहीं है.Land Act से पहले उन्होंने दिल्ली में Indian Olympic Association की President PT उषा से उनके ही दफ्तर जा के 38वें उत्तराखंड National Games की तार्रीखों को ले के मिले और सभी को चौंका डाला.उन्होंने ये साबित कर दिया कि आम लोगों-खिलाड़ियों और राज्य के हित से जुड़े किसी भी कार्य के लिए वह Ego-Protocol की परवाह करने वाले नहीं हैं.NG Games की तारीखें IOA से मिल नहीं रही थी.इससे राज्य में पसोपेश बना हुआ था.देवभूमि की प्रतिष्ठा दांव पर थी.कोई CM कभी IOA दफ्तर NG Dates या किसी अन्य कार्य के लिए भी गया हो, ये याद नहीं आता है.

 

पुष्कर का कमाल है कि जब तक मुख्यमंत्री IOA दफ्तर पहुँचते,उत्तराखंड राष्ट्रीय खेल की तारीख का Letter टाइप और उषा के दस्तखत के साथ तैयार था.इस Letter को पाने और तारीखों के ऐलान के लिए उत्तराखंड सरकार के अफसरों के घोड़े खुल गए थे.खेल मंत्री रेखा आर्य भी उषा से मिल चुकी थीं.Land Act और NG Dates पर पुष्कर की रफ़्तार से उनका Report Card Distinction से सजा लेकिन भू-माफिया और चालें चल के 250 गज से अधिक जमीन खरीद के कानून धता बताने वाले भारी तनाव में है.सरकार उनकी जमीन निहित करने में पल नहीं लगाने वाली है.इसके सख्त आदेश मुख्यमंत्री ने मुख्य सचिव राधा रतूड़ी को दे दिए हैं.राधा भी CM के Mission पर डट के जुट गई हैं.खुसर-पुसर ये भी सियासी हलकों में छिड़ गई है कि बढ़े हौसलों और आत्मविश्वास से भरे पुष्कर अपने मंत्रिमंडल को भी नई शक्ल देंगे या उस पर रंग रोगन करेंगे? खाली 4 सीटों को भरा जाएगा?

 

मौजूदा मंत्रियों में किसी की छुट्टी होगी? और होगी तो ऐसा कब तक होगा और किस-किस मंत्री की बलि चढ़ेगी! क्या प्रधानमंत्री ने इसके लिए भी हरी झंडी दे दी है? ये सब बेशक अभी कयासों तक सीमित है.फेरबदल होता है तो कम से कम 2 बेहद चर्चित नामों का जिक्र इसके संभावित शिकार के तौर पर बार-बार हो रहा.अंदाज है कि फेरबदल हुआ तो मंत्रिमंडल से शहीद होने वालों की तादाद 4 तक भी चली जाए तो ताज्जुब नहीं होगा.कुर्सी बचाने और खाली होने वाली कुर्सी पर बैठने के लिए आतुर MLAs के बीच रस्साकशी गुपचुप ढंग से चल रही.केदारनाथ विधानसभा उप चुनाव पर भी मोदी-पुष्कर में मंथन हुआ होगा, ये भी सोचा जा रहा है.

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